📰 तीन महीने से बिजली बिल नहीं चुकाया? चौकन्ना हो जाइए – छिबरामऊ में SHO रविंद्र की बड़ी कार्रवाई, कई घरों की बिजली गुल!
छिबरामऊ से रिपोर्ट | 25 अप्रैल 2025
लेखक: Ramprakash Chaturvedi
छिबरामऊ के लोग, अगर आप भी बिजली का बिल तीन महीने से नहीं भर पाए हैं, तो अब सतर्क हो जाइए। क्योंकि बिजली विभाग ने अब नरमी छोड़ दी है और सख्त एक्शन की राह पकड़ ली है।
24 अप्रैल 2025 को छिबरामऊ के DVVNL बिजली कार्यालय के SDO रविंद्र ने एक बड़ा अभियान चलाते हुए उन सभी घरों और दुकानों के बिजली कनेक्शन काट दिए (Bijlee connection kat gaya), जिन्होंने पिछले तीन महीनों से बिल नहीं चुकाया था।
और ये कोई छोटी-मोटी कार्रवाई नहीं थी, ऊपर से सीधा आदेश आया था – “बिल न देने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करो।”

⚡ कैसे शुरू हुई ये कार्रवाई?
सुबह करीब 10 बजे का वक्त था। बिजली विभाग की एक टीम जीप में निकली – SHO रविंद्र खुद आगे थे। पास के मोहल्लों, गलियों, और बाजार में जिन घरों और दुकानों की लिस्ट बनी हुई थी, वहां जाकर सीधा कनेक्शन काटा गया।
बिना किसी चेतावनी के, जो लोग लगातार तीन महीने से बिजली बिल टालते आ रहे थे, उनका मीटर सील कर दिया गया और कनेक्शन काट दिया गया।
SDO रविंद्र का कहना है –
“ऊपर से हमें साफ निर्देश मिला है कि बकायेदारों के खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएं। कोई रिश्ता, पहचान या बहाना अब काम नहीं करेगा।”
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‘बिजली कट गई और पता भी नहीं चला!’
चलते हैं हम छिबरामऊ की कटरा वाली गली में। यहाँ की एक गृहिणी सविता देवी बताती हैं –
“हम सोच ही रहे थे कि इस बार बिल भर देंगे, लेकिन अचानक बिजली कट गई। बच्चे गर्मी में परेशान हो रहे हैं, और अब मीटर भी सील कर दिया गया है।”
वहीं पास के दुकानदार राजू बताते हैं –
“बिजली का बिल बढ़ता जा रहा था, इस महीने दुकान धीमी थी, सोचा अगले महीने देखेंगे। लेकिन आज सीधे मीटर ही काट दिया गया।”
ऐसे ही कई लोग इस कार्रवाई से हैरान और परेशान दिखे। लेकिन प्रशासन का रवैया साफ था – “बिल भरो, तभी बिजली पाओ।”
⚠️ किन इलाकों में हुई सबसे ज़्यादा कार्रवाई?
SDO रविंद्र की टीम ने सबसे पहले मेन मार्केट को टारगेट किया। यहाँ पर पहले से ही विभाग के पास बकायेदारों की लंबी सूची थी।
करीब 30 से ज़्यादा घरों और दुकानों की बिजली काट दी गई। कहीं लोगों ने बहस की, तो कहीं चुपचाप सिर झुका लिया।
SDO रविंद्र की जुबानी –
“अब कोई कनेक्शन तब तक नहीं जोड़ा जाएगा, जब तक पूरा बकाया नहीं चुकाया जाएगा। ये आखिरी चेतावनी है।”
📌 ऐसी स्थिति क्यों आई? – जानिए असली वजह
बिजली विभाग के अनुसार, छिबरामऊ और आस-पास के इलाकों में बिजली बिल की वसूली में लगातार गिरावट आ रही थी। कई लोग जानबूझकर बिल टालते आ रहे थे, और ऐसे लोगों की वजह से विभाग को हर महीने लाखों का नुकसान उठाना पड़ रहा था।
अधिकारी बताते हैं कि कुछ लोग तो महीनों तक बिल नहीं भरते, फिर किसी पहचान या सिफारिश से जुड़वा लेते हैं। लेकिन इस बार ऊपरी स्तर से आदेश आया है कि “बिना पैसे के बिजली नहीं।”
एक सच्ची घटना – ‘बिल नहीं भरा, बेटी की शादी में अंधेरा रह गया’
आपको एक मार्मिक घटना बताते हैं। पास के गाँव कपूरपुर में रहने वाले रामस्वरूप यादव की बेटी की शादी थी 24 अप्रैल की रात।
उन्होंने तीन महीने से बिजली बिल नहीं भरा था। दोपहर में टीम आई और बिजली काट गई।
रामस्वरूप जी बताते हैं –
“हमने सोचा था कि शादी के बाद भर देंगे। लेकिन अचानक बिजली चली गई, टेंट वाले ने जनरेटर मांगा और ऊपर से डबल किराया। पूरी शादी का बजट बिगड़ गया।”
इस घटना ने इलाके के लोगों को गंभीर संदेश दे दिया – “बिजली को हल्के में लेना अब भारी पड़ेगा।”
📣 SDO रविंद्र की चेतावनी – अगला नंबर किसका है?
अब SHO रविंद्र ने साफ कहा है –
“ये तो सिर्फ शुरुआत है। जिनके बिल बाकी हैं, वो अभी भी समय रहते भर दें। अगली टीम आने से पहले बकाया चुकाएं (Bijlee connection kat gaya), नहीं तो मीटर खुद उठाकर ले जाएंगे।”
विभाग ने एक बकायेदारों की सार्वजनिक सूची भी जारी करने की योजना बनाई है। ताकि लोगों में शर्मिंदगी का डर हो और वे समय पर भुगतान करें।
📲 बिल भरना अब आसान – ऑनलाइन विकल्प भी मौजूद
SHO रविंद्र ने बताया कि अब किसी को लाइन में खड़े होने की ज़रूरत नहीं। DVVNL की वेबसाइट या मोबाइल ऐप से घर बैठे ही बिजली बिल चुकाया जा सकता है।
ऑनलाइन बिल भरने के फायदे:
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समय की बचत
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रसीद तुरंत
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लेट फीस से बचाव
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दोबारा कनेक्शन कटने का डर नहीं
💬 जनता का सवाल – क्या माफी का कोई विकल्प है?
कुछ लोगों ने सवाल उठाया – क्या विभाग कोई स्कीम लाएगा जिसमें लेट फीस माफ हो? इस पर SHO रविंद्र का जवाब था –
“अभी ऐसी कोई योजना नहीं है। पर अगर लोग सामूहिक रूप से विभाग से मिलकर निवेदन करें, तो संभव है कि कोई राहत दी जाए।”
बिल का भुगतान समय पर करें
इस पूरी घटना से छिबरामऊ के लोगों को एक सीधी सीख मिली –
“बिजली मुफ्त नहीं है। अगर आप समय पर बिल नहीं भरते, तो एक दिन बिजली की रोशनी छिन सकती है।”
अब देखना ये होगा कि बाकी बकायेदार कब तक जागते हैं। क्योंकि विभाग का रुख साफ है – अब कोई रियायत नहीं।
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